शुक्रवार, 18 मई 2018

गांव में जुर्माना याने पौधे लगाने की सज़ा
मध्यप्रदेश सरकार इस बार बड़े स्तर पर पौधारोपण करवा रही है, लेकिन एक गांव की कथा कुछ अलग है वहीं यह गांव पेड़-पौधो के लिहाज से अनूठा है, महज दो हजार की आबादी वाले इस छोटे से गांव की गलियों में दो सौ से ज्यादा पेड़-पौधे लहलहाते है, यहाँ हर घर के सामने पेड़ है, इतना ही नहीं, पेड़ को किसी ने नुकसान पहुंचाया तो उसे जुर्माना के तौर पर नए पौधे लगाकर परवरिश करते हुए पेड़ बनाने की सजा सुनाई जाती है । पिछले ३५ सालों से यहां के ग्रामीण हर साल कुछ नए पौधे भी लगाते है । इस साल वे सौ नए पौधे लगाने वाले है।
चमचमाते आगरा-मुंबई हाईवे से करीब १५ किमी दूर देवास जिले के गांव देवली की गलियों में पेड़ पौधों की बहार है, बुजुर्ग सूरजसिंह बताते है कि गांवभर के लोग इनकी निगरानी करते है और बुजुर्ग इस बात का ध्यान रखते है कि कोई इन्हें नुकसान नही पहुचाएं, इन्हे सूखने पर नही काटा जाता, यदि कोई ऐसा करते है तो चौपाल पर बैठक में बुजुर्ग उसे नए पौधे लगाने और इन्हे बड़ा करने की सजा सुनाते है, बीते दिनों एक ग्रामीण ने सड़क किनारे पेड़ को अपने ट्रेक्टर से धक्का दिया, इससे पेड़ की कुछ डालियां क्षतिग्रस्त हुई तो ग्रामीणों ने चालक से वहीं ट्रीगार्ड में नया पौधा लगवाकर उसे बड़ा करने का संकल्प करवाया । इसी तरह एक बस चालक से भी जुर्माना स्वरुप पांच पौधे लगवाए गए है ।
लोग बताते है कि ३५ सालों से यह प्रथा चली आ रही है, गांव के ४५ बुजुर्ग इनकी निगरानी करते है, हर साल कुछ नए पौधे लगाते है, ग्रामीण अपने घर के समीप के पौधोंको गर्मी में पानी देते है, गांव की सरपंच प्रेम बाई के मुताबिक इस बार सौ नए पौधे लगाए जाएंगे, इसका बड़ा फायदा यह हुआ है कि अब गांव के बच्चे भी पौधों और उनकी सुरक्षा करना सीख गए है । और पौधारोपण कार्य में भाग लेते है ।

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